फाल्गुनी रंग ......
निर्झर बहे धारा ...
मिले किनारा ,,,,,
रंग बिरंगी ....
बसंत की सौगातें ...
फूलों की बातें ....
रंग गुलाबी ...
जब छाया बसंत ...
मन शराबी ....
बुन ले गुण ...
रंग झरे बहार ....
भीगे फागुन ....!!
अलिखित है ....
जैसे मन की प्रीत .....
जीवन गीत .....
ओ रे भ्रमर ...
मत गूँज इधर ...
पिया न घर ... ....!!
बहुत प्यारे हायकू और उतनी ही सुन्दर तस्वीरें...
ReplyDeleteसादर
अनु
ओ रे भ्रमर ...
ReplyDeleteमत गूँज इधर ...
पिया न घर ... ....!waah dil ki bat.....
परिवार सहित होली मुबारक हो !
ReplyDeleteस्वस्थ रहें!
एक से बढ़ कर एक सार्थक सामयिक हाइकू ....
ReplyDeleteबुन ले गुण ...
रंग झरे बहार ....
भीगे फागुन ....
शुरू सगुन
तन-मन बावरा
सपना गुन !!
बहुत सुन्दर.....आभार विभा जी ....!!
Deleteबहुत ही सुन्दर हाइकु है ...
ReplyDeleteहोली की शुभकामनाएँ...
:-)
बहुत प्यारे हाइकु, चित्रों को बायीं ओर कर दिया करें, नहीं तो दो पंक्तियों के बीच आ जाते हैं।
ReplyDeleteबहुत सुन्दर प्रस्तुति!
ReplyDelete--
रंगों के पर्व होली की बहुत-बहुत हार्दिक शुभकामंनाएँ!
सब एक से बढ़कर एक...अति मनमोहक
ReplyDeleteहोली की शुभकामनाएं ....
सुंदर भावपूर्ण सहजता से कही गयी गहरी बात
ReplyDeleteबहुत बहुत बधाई
होली की शुभकामनायें
बहुत उम्दा हाइकू ,,
ReplyDeleteहोली की बहुत बहुत शुभकामनाए,,,
Recent post : होली में.
बहुत सुंदर हाइकु...शुभकामनायें
ReplyDeleteबहुत आभार राजेश जी .....
ReplyDeleteअति सुन्दर. सबके सब .
ReplyDeleteओ रे भ्रमर ...
ReplyDeleteमत गूँज इधर ...
पिया न घर ..
होली की शुभकामनायें
सुंदर हाइकु
बसंत के रंगों से सराबोर हायकू मन को भिगो गए . इतने नयनाभिराम चित्र आप लगाती है की कविता पढने का आनद दुगुना हो जाता है .
ReplyDeleteमजेदार, होली पर्व की ढेरों शुभकामनाये !
ReplyDeleteअनुपम भाव संयोजित किये हैं आपने ...
ReplyDeleteहोलिकोत्सव की अनंत शुभकामनाएं
waah bahut bahut bahut sundar hai ...man rang gaya in mein :)holi mubarak
ReplyDeleteसार्थक से हाइकू.. कोमल से शब्द.. अभिव्यक्ति इतनी स्पष्ट की क्या कहने.. होली की शुभकामनाएँ!!
ReplyDeleteआप को होली की हार्दिक शुभकामनाएँ!!
ReplyDeleteहोली की रंगों भरी शुभकामनायें >>>>>>
ReplyDeleteवाह अनु...बहुत ही प्यारे हाइकू ...:)
ReplyDeleteतुम्हे भी दोस्ती की चाशनी में पगी ...प्यार के रंगों में रंगी...टेसू के फूलों सी महकती हुई
होली की अशेष शुभकामनाएं .....:)
बहुत सुंदर भावपूर्ण अभिव्यक्ति । आपको और आपके पूरे परिवार को रंगों के त्योहार होली की शुभ कामनाएँ
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ReplyDeleteओ रे भ्रमर ...
मत गूँज इधर ...
पिया न घर ... ....!!
बहुत सुन्दर विरह चित्र .सुन्दर चित्रमय हाइकू
सभी हाइकू बहुत अच्छे .....
ReplyDeleteरंग गुलाबी ...
जब छाया बसंत ...
मन शराबी ....
मन गुलाबी
जब छाया बसंत ...
हुआ शराबी ....:))
आभार हरकीरत जी ...:))सच बात है बसंत मन पर छाये बिना मानता नहीं ....!!
Deleteअनुपमा जी, शब्दों और चित्रों के माध्यम से मन के बासंती भावों को बखूबी प्रस्तुत किया है आपने इस पोस्ट में..
ReplyDeleteहाइकु पसंद करने के लिए ...आभार आप सभी गुणी जानो का .....
ReplyDeleteहाइकु के साथ सुन्दर चित्र संयोजन आपकी कला को अलग आयाम दे रहा है .
ReplyDeleteएक से बढ़ कर एक बासन्ती हाइकु .... चित्र भी बहुत सुंदर
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